Kya jaane .. kyun ?
Its about me, मैं and myself
20 July 2015
न जाने क्यूं आज मेरा दिल रेज़ा रेज़ा रोया था
न जाने क्यूं आज मेरा दिल
रेज़ा रेज़ा रोया था।
एक हर्फ़ मुझसे नफरत का
उसके दिल में गोया था।
मैं चीज़ बड़ी
नाचीज़ सी थी।
एक बार उठा कर पलकों पे ,
मुझे ख्वाबो में पिरोया था।
वो ख्वाब ही था
जो टूट गया।
बस कुछ टूटे फूटे सपने है
जिन्हे आँखों ने संजोया था।
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment